आग फैलने के कितने तरीके होते है| आग फैलने के कौन कौन से तरीके होते है ?

पिछले ब्लॉग पोस्ट में फायर ट्रायंगल(Fire triangle) तथा फायर टेट्राहेड्रों यदि के बारे में जानकारी प्राप्त किया गया और अब इस ब्लॉग पोस्ट में हम फायर कैसे फैलता है(Method of Spread of fire)  उसके बारे में जानकारी प्राप्त करेंगे !

जैसे पानी उचाई से निचे की तरफ बहता  है वैसे ही फायर या आग  भी हाई टेम्परेचर से लो टेम्परेचर  की ओर जाता है या फैलता( Spread of fire) है !आग को फैलने (Method of Spread of fire) की तीन तरीके होते है जो की निम्न है :

Transmission of Heat

1. कंडक्टसन(Conduction):यह तरीके से आग ठोस(Solid), दर्व्य(Liquid) , और गैस(Gas) तीनो  प्रकार के  बस्तुओ में फैलती है !लेकिन इस तरीके से आग ज्यादातर ठोस बस्तुओ में फैलती है ! कंडक्टसन मेथड में  जब किसी बस्तु का कोई सिरा आग के करीब आता है तो उस सिरे के मोल्कुल में कम्पन(Vibrate) पैदा होती है और ओ मोल्कुल अपने पास वाले मोल्कुल से टकराते है और उर्जा को एक छोर से दुसरे छोर  पर फ़ैल जाती है !गर्मी का सबसे अच्छा कंडक्टर सिल्वर होता है ! नॉन मेटलिक बस्तु बैड कंडक्टर(Bad Conductor) होते है और मरकरी को छोड़ लिक्विड(liquid) और  गैस(Gas) तो वैरी बैड कंडक्टर (Very Bad Conductor) होता है !

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2. कोन्वेकसन(Convection ):इस मेथड से आग केवल दर्व्य (liquid) और गैस (gas) में ही फैलती है !जब दर्व्य या गैस गर्म होते है तो ओ फैलते है और उनका घनत्व कम हो जाता है और जो भाग ठंढा रहता है उसका घनत्व ज्यादा रहता है इस प्रकार से ज्यादा धनत्व यानि ठंढा भाग निचे और गर्म भाग ऊपर निचे होते रहते है और ताप  या आग एक किनारे से दुसरे किनार तक  फ़ैल जाती है यह प्रक्रिया तब तक जलती है जब तक की सभी जगह का तापमान एक जैसा न हो जाए ! इसी प्रकार की प्रक्रिया गैस में भी होता है !इसी प्रक्रिया के अन्दर अक्सर देखा जाता है की जब मल्टी स्टोरी बिल्डिंग में आग लगता है तो ग्राउंड फ्लोर की आगे की लपटे सीढी या लिफ्ट के रास्ते निचे से ऊपर की तरफ फ़ैल जाता है !उस फैलने की मुख्य कारण कोन्वेकसन ही होता है !

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3. रेडिएशन(Radiation) :ताप को एक जगह से दुसरे जगह फैलने के लिए किसी भी माध्यम की जरुरत नहीं पड़ती है जब की  कंडक्टसन और कोन्वेकसन में आग को फैलने के लिए मध्य की जरुरत पड़ती है ! इस मेथड में सूरज की ताप सूरज की किरणों जो की खाली आकास से होते हुए भी सूरज का ताप एक जगह से दुसरे जगह फैला देती है इस विधि को  रेडिएशन कहते है ! इसका सबसे अच्छा उदहारण मगनीफाई ग्लास से जब सूरज की किरने किसी बस्तु पर एकत्री हो कर पड़ती है तो वह आग लग जाती है  या आग के नजदीक जाने पर जो गर्मी महसूस होती है वह भी रेडिएशन के कारन से ही होता है 

इस प्रकार से यहाँ आग के एक जगह से दुसरे जगह कैसे फैलती है और आग के फैलने की विधि के बारे में यह ब्लॉग पोस्ट समाप्त हुवा !उम्मीद है की यह ब्लॉग पोस्ट आपलोगों को पसंद आएगा ! इस ब्लॉग  को सब्सक्राइब या फेसबुक पेज को लाइक करके हमलोगों को प्रोतोसाहित करे! 

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